खाली पेट दूध या दही (योगर्ट) खाने से पेट फूलना, एसिडिटी या पेट खराब होने जैसी परेशानी हो सकती है. क्योंकि डेयरी में नैचुरल लैक्टिक एसिड होता है जो पेट में एसिड बनाती है. जिसके कारण पेट फूलने की परेशानी होती है. कभी-कभी दही में मौजूद हेल्दी बैक्टीरिया ओवरऑल हेल्थ के लिए फायदेमंद होता है जबकि कुछ लोगों को खाली पेट दूध पीने से हल्की एसिडिटी से राहत मिल सकती है. लेकिन आम तौर पर नाश्ते में दही खाना अच्छा माना जाता है. खासकर जिन लोगों को एसिडिटी या एसिड रिफ्लक्स की समस्या है. उनके लिए खाली पेट दही खाना फायदेमंद होता है. क्योंकि इसमें प्रोबायोटिक्स होते हैं. जो सीधे आपकी बड़ी आंत में जाते हैं.
पेट के एसिड के साथ सहभागिता – जब खाली पेट दही खाया जाता है. तो पेट में मौजूद एसिड दही में मौजूद कुछ लाभकारी बैक्टीरिया को मार सकता है. जिससे इसके प्रोबायोटिक लाभ कम हो जाते हैं. इसका मुकाबला करने के लिए दही को ओट्स या फलों जैसे कार्बोहाइड्रेट के साथ मिलाना बेहतर विकल्प हो सकता है.
एसिडिटी का खतरा – कुछ लोगों को खाली पेट दही खाने से एसिडिटी की समस्या हो सकती है. “यह आपके पेट वाले या एसिड रिफ्लक्स से पीड़ित लोगों के लिए विशेष रूप से सच है. दही में मौजूद लैक्टिक एसिड, खाली पेट के साथ मिलकर असुविधा या सूजन का कारण बन सकता है.
पोषक तत्वों का अच्छा सोर्स – सुबह सबसे पहले दही खाने से कैल्शियम, प्रोटीन और विटामिन बी जैसे ज़रूरी पोषक तत्व जल्दी मिलते हैं. दही पोषक तत्व से भरपूर होता है जो हड्डियों के स्वास्थ्य और मांसपेशियों की मरम्मत में मदद करते हैं.
हाइड्रेटिंग और कूलिंग – दही में पानी की मात्रा अधिक होती है. जो शरीर को हाइड्रेट करने में मदद करता है. खासकर गर्म मौसम में इसके प्राकृतिक कूलिंग गुण शरीर की गर्मी को कम कर सकते हैं और निर्जलीकरण को रोक सकते हैं.
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लैक्टिक एसिड : खाली पेट दही खाने से इसमें मौजूद लैक्टिक एसिड पेट की एसिडिटी को बढ़ा सकता है.
कम प्रोबायोटिक के फायदेमंद: खाली पेट दही खाने से इसमें मौजूद हेल्दी बैक्टीरिया शरीर के लिए बहुत अच्छा होता है.
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